शनिवार, 1 मई 2010

.....और हम चल दिए ( अब तो हमें जाना पड़ेगा...)

जुगनू कोई सितारों की महफ़िल में खो गया,
इतना न कर मलाल जो होना था हो गया।
बादल उठा था सबको रुलाने के वास्ते,
आँचल भिगो गया कहीं दामन भिगो गया।


आज ये दिल सीने में एक नश्तर की तरह चुभ रहा है। ऐसा तो कुछ नहीं कि मैं कुछ छोड़ कर जा रहा हूँ। तमाम यादें, तमाम बातें इस दिल में हैं, शायद वहीँ से ये चुभन हो रही है। जिंदगी भी कितनी अजीब चीज है न। तड़के का मसाला हमेशा अपने साथ रखती है, कभी होठों पे मुस्कराहट सजाती है तो कभी आँखों को आंसुओ से सराबोर कर देती है। दोस्तों, तुम्हारी यादें इस दिल में बनी रहेंगी। हो सकता है वक़्त इन यादों को कुछ धुंधला कर दे मगर दिल से इनका अक्स, इनकी कशिश कैसे निकाल पायेगा। अब बस कुछ ही घंटों की बात है जब हम अपनी-अपनी मंजिल की तरफ कदम बढ़ाएंगे। भौतिक रूप से हम कितने भी दूर रहें पर कोशिश यही रहेगी कि दिलों के दरम्यान कभी कोई फासला न हो। आने वाला कल बेशक हमारा है और हम अपनी जिंदगी में कामयाबी की एक नयी इबारत लिखने जा रहे हैं। और बड़े-बड़े काम करने के लिए कुर्बानी तो देनी ही पड़ती है।

अब कुछ मेरे बारे में भी। मुझे पता नहीं कि मेरी मंजिल कहाँ होगी पर अपने सपनों को पूरा करने में मैं कोई कसर छोड़ने वाला नहीं हूँ। मेर्री आँखों ने बहुत ही बड़े-बड़े सपने देखे हैंऔर जब देख ही लिए हैं तो जी जान से लगना ही है। अब मैं अगले कुछ ही दिनों में इस देश कि राजधानी में अपनी जगह तलाशने के लिए निकल रहा हूँ। दुनिया बहुत बड़ी है और ऊपर वाले ने मेरे लिए भी कुछ न कुछ इंतजाम किया ही होगा। आखिर मैं भी उसी का बन्दा हूँ। थोड़ा संघर्ष तो होगा ही मगर जब माँ-बाप का आशीर्वाद, दोस्तों की दुआएं और उपरवाले का हाथ मेरे साथ हो तो संघर्ष करने में मजा तो आएगा ही।
आप लोगों ने पिछले दो सालों में जो मेरा साथ दिया, मेरी हौसला आफजाई की, उसके लिए मैं आपका तहेदिल से शुक्रगुजार हूँ। आप लोगों की दुआएं हमेशा मेरे साथ रहेंगी और आपका ये दोस्त हमेशा आपकी कामयाबी के लिए दुआ करेगा। हो सके तो मुझे भी अपने दिल में एक छोटी सी जगह दे दीजियेगा, बाकी उस जगह को तो मैं बड़ा कर ही लूँगा। थोडा नाराज़ तो होंगे आप पर क्या करूँ...... ऐसा ही हूँ मैं!

निकल चले हैं खुल्ली सड़क पर,
अपना सीना ताने।
मंजिल कहाँ? कहाँ रुकना है?
उपरवाला जाने।
बढ़ते जाएँ हम सैलानी,
जैसे एक दरिया तूफानी,
सर पे लाल टोपी रूसी,
फिर भी दिल है हिन्दुस्तानी।

अच्छा तो अब चलते हैं...............मिलते रहेंगे.

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